
इंडिया फर्स्ट । इंटरनेशनल डेस्क ।
नीदरलैंड के आम चुनाव पूरे हो चुके हैं। अनुमान है कि यहां के धुर-दक्षिणपंथी नेता और इस्लाम विरोधी गीर्ट वाइल्डर्स चुनाव जीत रहे है।
वाइल्डर्स नीदरलैंड के “डी-इस्लामीकरण” की भी वकालत करते है।
वाइल्डर्स की इस्लाम विरोधी बयानबाजी स्पष्ट रूप से पीवीवी के राजनीतिक अभियान का हिस्सा रही है। वाइल्डर्स की फ्रीडम पार्टी सार्वजनिक स्थानों पर इस्लामिक हेडस्कार्फ़ को गैरकानूनी घोषित करने के साथ-साथ मस्जिदों और कुरान पर प्रतिबंध लगाने का भी खुलेआम आह्वान करती आई है और इसे उन्होने अपने चुनावी प्रचार का अहम हिस्सा भी बनाया था।
पैगंबर मोहम्मद पर विवादित टिप्पणी करने के मामले में वाइल्डर्स ने नुपुर शर्मा का समर्थन किया था। उन्होंने विवादित बयान देने को लेकर शर्मा को हीरो करार दिया था। वाइल्डर्स ने कहा था कि नुपुर को पैगंबर मुहम्मद के बारे में सच बोलने के लिए कभी माफी नहीं मांगनी चाहिए। उन्होंने एक ट्वीट कर नुपुर के बयान का पुरजोर समर्थन किया था।
वाइल्डर्स ने ‘एक्स’ पर लिखा था, “मुझे लगा कि भारत में शरिया अदालतें नहीं हैं। नुपुर ने पैगंबर मुहम्मद के बारे में सच बोला है। उन्हें कभी माफी नहीं मांगनी चाहिए। वो उदयपुर में हुई घटना की जिम्मेदार भी नहीं हैं। इस घटना के लिए कट्टरपंथी असहिष्णु जिहादी मुसलमान जिम्मेदार हैं। नुपुर शर्मा एक हीरो हैं।”
इन नतीजों का यूरोप पर भी गहरा प्रभाव पड़ने की संभावना है |
नुपुर शर्मा का बचाव
पिछले साल, वाइल्डर्स ने भारतीय जनता पार्टी की नुपुर शर्मा को भी अपना समर्थन दिया था, जिन्हें पैगंबर मुहम्मद पर अपमानजनक टिप्पणियों के लिए दुनिया भर से आलोचना का सामना करना पड़ा था। वाइल्डर्स ने कहा था कि शर्मा “पैगंबर मुहम्मद और उनकी पत्नी आयशा के बारे में सच्चाई के अलावा कुछ नहीं” बोल रही थी और यहां तक कि एक्स पर उनके बचाव में पोस्ट भी किया था और उन्हें हीरो बताया था। एक पोस्ट में उन्होंने लिखा, ”तुष्टिकरण कभी काम नहीं आता। इससे चीज़ें और भी बदतर हो जाएंगी। इसलिए, भारत के मेरे प्यारे दोस्तों, इस्लामिक देशों से भयभीत न हों। आज़ादी के लिए खड़े हो जाओ और मुहम्मद के बारे में सच बोलने वाली अपनी राजनेता नूपुर शर्मा का बचाव करने में गर्व और दृढ़ रहो।” एक अन्य पोस्ट में उन्होंने खुद को मिली जान से मारने की धमकियों के बारे में भी बताया लेकिन साथ ही कहा कि उन्हें इसकी परवाह नहीं है।